नफरत का अंत क्या होता है?

नफरत का अंत क्या होता है?

नफरत का अंत क्या होता है?

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नफरत एक घातक भावना है जो समाज को तबाह करती है। यह एक कीड़ा की तरह फैलती है और हर किसी को दुःख पहुँचाती है। नफरत का फल हमेशा ही शोक होता है। जो नफरत फैलाता है, वह खुद ही उसका शिकार हो जाता है।

  • जीवन का आनंद
  • प्यार

मानवता का पतन

इस जगत में हर दिन नये-नये दुःखों का सामना करना पड़ता है। जो भी हम खुद को बचाते मानते हैं, वहीं अस्तित्व के लिए युद्ध छिड़ जाती है। यह अंधकार की दुनिया में हमारी हिम्मत धीरे-धीरे नष्ट होता जा रहा है।

अहम् खुद को बचाने के लिए कभी कभार ही कोशिशें करते हैं, लेकिन फलस्वरूप यह पराजय हो जाता है। क्या हम इस मुसीबत से बच सकते हैं? यह एक महत्त्वपूर्ण विचार है जिसका समाधान हमें खुद को ढूंढना होगा।

क़ुर्बानी किसकी?

यह एक प्रश्न है जो हम सभी को चुनौती देता है. धार्मिक दुनिया में, हर व्यक्ति अपना हार कहता है। क़ुर्बानी का परिणाम हमेशा एक ही नहीं होता। कभी-कभी यह हमें सफलता की ओर ले click here जाता है, तो कभी-कभी यह हमें परेशानियों में डाल देता है। यदि हम इस प्रश्न का समाधान करना चाहते हैं, तो हमें खुद को अलगाव करने की आवश्यकता होगी.

ख़ुशी का भ्रम

जीवन एक सफर है जो हमें कई खूबसूरत पलों से भर देती है। परंतु क्या हमेशा ये सुख सच में स्थायी रहती है? अक्सर, हम अपनी इच्छाओं को पूरा करने में इतने व्यस्त हो जाते हैं कि हमें यह भूल जाता है कि असली सफलता जीवन का संतुष्टि पाने में निहित है।

दूर तक पहुँचता है कलंक

एक व्यक्ति के ऊपर लगने वाला कलंक, उसके जीवन बहुत दूर तक पहुँचता है। यह सिर्फ़ व्यक्तिगत जीवन तक ही सीमित नहीं रहता, बल्कि समाज पर भी गहरा प्रभाव डालता है। ऐसे में यह बहुत जरूरी है कि हम कलंक के उत्पत्ति की जड़ तक पहुँचें और इसे दूर करने के लिए योजना बनाएँ।

धोखा का जाल

यह समाज में मौजूद है यह एक घातक चीज़ है। लोग हमेशा इसमें फ़ंस जाते हैं । यह एक ऐसा जालसा है जिसमें इंसानों को चालाक लोग मारे जाते हैं।

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